बहनोई ने सम्पति के लालच में किया साले की हत्या, तीन लोगो के साथ मिलकर दिया घटना को अंजाम ।
बिहार ,नवादा जिला से अगवा अंशु कुमार की लाश गया जिले के नीमचक बथानी थाना क्षेत्र से मंगलवार को करीब सुबह 6 बजे बरामद की गई है । नीमचक बथानी थाना नासिर बिगहा के ठीक सामने 500 मीटर की दुरी पर एक पहाड़ी तलहटी है, उसके गर्भ में शव बरामद हुआ । पुलिस ने अंशु का अपहरण और हत्या के आरोप में उसके जीजा समेत तीन लोगो को हिरासत में लिया।
गिरफ़्तार अपराधियों में से कृपाल प्रसाद का बेटा संजय कुमार , भाई विकास कुमार और बेटा इंदरजीत कुमार है। और ये तीनों नीमचक बथानी क्षेत्र नासिर बिगहा गांव के रहने वाले है। इंदरजीत कुमार मृतक अंशु कुमार के बहनोई है। और संजय उनके पिता, विकास उनके चाचा है। उनको पुलिस ने सबूतों के आधार पर गिरफ्तार किया जिसमे घटना मे प्रयोग किया गया , फ़ोन और बाइक भी बरामद की गई। पुलिस के मुताबिक इस साजिश मे इंदरजीत और उनके पिता और चाचा भी शामिल थे। इन तीनो ने मिलकर अंशु के शव को पहाड़ी में ठिकाने लगया। नवादा सदर के एसडीपीओ उपेंद्र सिंह के नेतृत्व एसआईटी ने निशानदेही नीमचक थाना पुलिस की मदद से आरोपी को गिरफ़्तार और शव को बरामद किया। मृतक अंशु 10 साल का थानवादा के लोहनी विगहा गांव के सुनील कुमार पुत्र था। पिछले 10 दिनों से लापता था सुनील कुमार ने पुत्र के लापता होने की शिकायत पुलिस को भी दर्ज कराई।
सम्पति को लेकर था मामला।
अंशु की हत्या करने के पीछे कारण यह था की कुछ समय से अंशु के पिता एक जमीन बेचने में लगे हुए थे जिसकी कीमत लगभग 45 लाख रूपये थी। जैसे ही इस बात का पता इंदरजीत को चला सम्पति हथियाने के काम में लग गया और इसमे उसकी मदद पिता और चाचा करने लगे। अंशु की हत्या के बाद फिरौती की रकम भी लेने के झूठे नाम से सिम लेने के फिराक में थे , लेकिन पुलिस की कड़ी निगरानी के कारण यह संभव नहीं हो पाया।
अंशु की हत्या के बाद 13 वर्षीय वसंत को भी मारने की कोशिश थी अगर उसकी हत्या हो जाती तो सुनील की सारी सम्पति का इकलोता वारिस इंदरजीत होता लेकिन उससे पहले ही पुलिस ने तीनो का गिरफ़्तार कर लिया।
अंशु का शव पहाड़ी इलाकों में मिला ठंड होने के कारण पहचनाने में मुश्किल नहीं हुई । शव को पुलिस ने कब्ज़े मे लेकर पोष्टमार्टम के लिए भेजा।
पुलिस से मिली जानकारी के मुतबिक चाचा विकास के नाम और भी कई सारे मामले दर्ज है।